
कुलेश्वर सिन्हा
छूरा ग्रामीण :- गरियाबंद जिले के छूरा अंचल में ईंट भट्टे का कारोबार धड़ल्ले से चल रहा है । इट निर्माण करने के लिए इट ठेकेदार बहुतायत मात्रा में मजदूर रखकर ईट का निर्माण नियमो को ताक पर रखकर धड़ल्ले कर रहे हैं जिसके चलते क्षेत्र में राजस्व और खनिज विभाग की मेहरबानी कहो या अनदेखी के चलते क्षेत्र में अवैध ईंट निर्माण जोरो पर है जबकि ईंट बनाने पर्यावरण विभाग से अनुमति लेना जरूरी है। अनुमति के बगैर ईंटा बनाना गैरकानूनी है लेकिन क्षेत्र में सैकड़ों छोटे-बड़े ईंट भट्टों का संचालन अवैध रूप से किया जा रहा है। इससे न सिर्फ पर्यावरण को नुकसान पहुंच रहा है, बल्कि राजस्व एवम जंगल की लकड़ी, पानी, मिट्टी, का जमकर इस्तेमाल जमकर किया जा रहा है। इसके कारण लगातार भू-जल स्तर गिरता जा रहा है। बताना लाजमी होगा कि खरखरा,पंडरीपानी, छुरा, दादरगांव मडेली खडमा तुमगांव,डांगनवाय,व क्षेत्र कई ग्रामों में अवैधध ईंट भट्ठों का संचालन जोरो पर है।
राजस्व विभाग औऱ वनविभाग ने की कार्यवाही
विकासखंड में ग्राम पंचायत हरदी के आश्रित ग्राम तुमगांव के सागौन नर्सरी के सामने इट का अवैध रूप से निर्माणकिया जा रहा है जिसमे अवैध रूप से लाखो की संख्या में कच्ची और पक्की इटे रखी हुई थी। । साथ ही बहुतायत मात्रा में फलदार वृक्ष महुआ के मिश्रीत 2 चट्टा लकड़ी जिसकी मोटाई 1.80 थी उसको इट पकोंने के लिए रखा गया था जिसको गांव वालों ने देखा तो आक्रोशित हो गये क्योकि अभी महुआ का सीजन चल रहा है जिसपर गाँव के लोग इस महुए के पेड़ के फल से अच्छी आमदनी कर लेते हैं इस कारण आक्रोशित ग्रामीणों ने तुरंत राजस्व ऒर वन विभाग अमला को सूचना देकर अवैध रूप से चल रहे इट भट्टा के ऊपर कड़ी कार्यवाही करने की बात कही जिस पर राजस्व विभाग ने तत्काल स्टाफ भेजकर उक्त हल्का के पटवारी रायसिंह और कोतवाल की मौजूदगी में ईंट निर्माणकर्ता चिरंजीव देवांगन के भट्टे में कार्यवाही की जिसपर मौके में पाया गया 80 हजार कच्ची ईट और 70 हजार पक्की ईट पाया गया
जिसमें उपस्थित मजदूरों से कोई वैध दस्तावेज है करके पूछा गया तो सभी ने सीधे मुह से नकार दिया जिसके बाद राजस्व अमला ने सभी 1 लाख 50 हजार इटो पर कार्यवाही कर सीज कर दिया गया और ग्राम पटेल आदु राम साहू को सीज किये गए इटो को सुपुर्दनमा दिया गया .मौके पर ईट निर्माणकर्ता चिरंजीव देवांगन निवासी छूरा मौके पर उपस्थित नही था । साथ ही साथ वनविभाग का अमला भी तत्काल पहुच कर भट्टे में रखे लकड़ियों की जांच कर पंचनामा तैयार किया गया ।
ग्रामीणों के द्वारा किये गए शिकायत पर जांच की गई तो शिकायत के अनुसार सभी तथ्य सही पाए गए और जांच में पंचनामा तैयार किया गया जिस पर लिखा था कि सभी लकड़िया किसानों के कृषि भूमि से लाया गया । यह सभी बात सभी पंचगड़ो के समक्ष झुरु राम हरदी निवासी ने बताया जिसके आधार पर पंचनामा तैयार कर सभी लकड़ियों को जब्त करने की कार्यवाही की गयी । उक्त कार्यवाही में ग्राम ग्राम पटेल आदूराम साहू और गग्रामीणों में कमलेश दीवान, रामलाल यादव डेचंद ध्रुव, आनन्द राम ध्रुव उपस्थित थे ।
उक्त कार्यवाही के दौरान जब नर्सरी के पीछे में ग्रामीणों ने दस्तक दिया तो नर्सरी के आगे सभी वृक्ष हरे भरे थे लेकिन जब अंदर की तरफ जाया गया तो नर्सरी के पीछे बड़े बड़े वृक्ष कटे पाये गए और कुछ एसे वृक्ष भी थे जिनकी टहनियों को काट दिया गया था । ग्रामीणों ने यह भी बताया कि यहाँ पर कुछ लोग सुबह सुबह आरा पकड़ कर आते हैं जंगल से बड़े बड़े वृक्ष तड़के सुबह काट कर ट्रेक्टर से ले जाते हैं । इस पर उपस्थित वन विभाग पाण्डुका के बीट गार्ड नरेन्द्र कुमार साहू ने कहा कि इसकी सूचना मैं डिप्टी रेंजर को दूंगा और राजस्व विभाग को, पेड़ जहाँ पर कटा है वह जमीन कौन से विभाग के अंतर्गत है जांच कर दोषियों के खिलाफ कार्यवाही कड़ी कार्यवाही करेंगे
मुर्गियों के मल का उपयोग भट्टे में करने से आ रही है बदबू और मक्खियां
उक्त इट भट्टा संचालक ने अपने इटो को मजबूत बनाने के लिए अपने भट्टे में मुर्गी फार्म से मुर्गियों के मल को लाकर भट्टे में स्टोर करके रखा गया है जिसपर ग्रामीणों ने कहा कि यह मल जब मौसम जब जब हवा का दिशा बदलता है तब तब हम खाना नही खा पाते हैं क्योकी असहनीय बदबू आती है गांव में जब से यह भट्टा में इसका उपयोग किया जा रहा ह तब से गांवो के घरों में दिनोदिन मक्खियों की संख्या बढ़ गयी है इसलिये बीमारी होने की संभावना हमेशा बनी रहती है ।
इस मामले पर शासकीय अस्पताल छूरा के डॉ एस पी प्रजापति से चर्चा करने पर बताया कि मुर्गियों के मल को जितना जल्दी हो सके जलाकर नष्ट कर दीजिये नही तो बीमारी फैल सकती है ।